Esophageal Varices, जिसे हिंदी में ग्रासनली की वेरिसीज़ कहा जाता है, वे फूली हुई और कमजोर रक्तवाहिकाएं होती हैं जो ग्रासनली (Esophagus) की अंदरूनी परत में बन जाती हैं। यह स्थिति तब उत्पन्न होती है जब लिवर में रक्त प्रवाह बाधित हो जाता है और दबाव (portal hypertension) बढ़ जाता है, जिससे खून वैकल्पिक रास्तों से बहने लगता है – जिनमें से एक ग्रासनली होती है।
यदि ये वेरिसीज़ फट जाएं तो यह जानलेवा रक्तस्राव का कारण बन सकती हैं।
Esophageal Varices क्या होता है ? (What are Esophageal Varices?)
Esophageal Varices वे अबनॉर्मल, विस्तारित (enlarged) रक्तवाहिकाएं होती हैं जो ग्रासनली की दीवार में होती हैं, और आमतौर पर portal hypertension (पोर्टल हाईपरटेंशन) के कारण बनती हैं। इन रक्तवाहिकाओं की दीवार पतली होती है, जिससे इनमें फटने (rupture) और अत्यधिक रक्तस्राव (bleeding) का खतरा अधिक होता है।
Esophageal Varices कारण (Causes of Esophageal Varices):
- लिवर सिरोसिस (Liver cirrhosis) – सबसे प्रमुख कारण
- Portal vein thrombosis (पोर्टल नस में ब्लॉकेज)
- Schistosomiasis – एक परजीवी संक्रमण जो पोर्टल हाईपरटेंशन उत्पन्न करता है
- Budd-Chiari syndrome – यकृत नसों का रुक जाना
- Alcoholic liver disease (अत्यधिक शराब सेवन से लिवर क्षति)
- Congenital hepatic fibrosis
- Chronic hepatitis B और C संक्रमण
Esophageal Varices के लक्षण (Symptoms of Esophageal Varices):
आरंभिक चरण में कोई लक्षण नहीं होते। लेकिन जब वेरिसीज़ फट जाती हैं तो लक्षण दिखाई देते हैं:
- उल्टी में खून आना (Hematemesis)
- काले, टार जैसे मल (Melena)
- अचानक कमजोरी या चक्कर आना
- पेट दर्द या बेचैनी
- चेतना का लोप (Unconsciousness)
- तेजी से हृदय गति (Tachycardia)
- रक्तचाप में गिरावट (Hypotension)
- एनिमिया (Anemia – खून की कमी)
- त्वचा पीली पड़ना (Jaundice यदि लिवर की समस्या है)
निदान (Diagnosis of Esophageal Varices):
- Upper GI Endoscopy (एंडोस्कोपी) – सबसे सटीक जांच
- Liver Function Test (LFT) – लिवर की स्थिति जांचने के लिए
- Ultrasound with Doppler – पोर्टल वेन में दबाव और फ्लो देखने के लिए
- CT scan or MRI Abdomen
- Capsule endoscopy (यदि एंडोस्कोपी संभव न हो)
- Blood tests – खून की मात्रा, प्लेटलेट्स और क्लॉटिंग फैक्टर्स
Esophageal Varices इलाज (Treatment of Esophageal Varices):
1. Varices rupture होने से पहले (Prophylactic treatment):
- Beta blockers (जैसे Propranolol, Nadolol) – रक्तचाप कम करने के लिए
- Endoscopic variceal ligation (EVL) – एंडोस्कोपी द्वारा वेरिसीज़ पर बैंड डालना
- Nitrates – पोर्टल वेन प्रेशर कम करने के लिए
- Avoid alcohol and hepatotoxic drugs
2. यदि वेरिसीज़ फट जाएं (Acute Bleeding):
- आपातकालीन एंडोस्कोपी + बैंड लिगेशन या स्क्लेरोथैरेपी
- रक्त चढ़ाना (Blood transfusion)
- IV fluids और दवाएं जैसे Octreotide या Terlipressin
- Sengstaken-Blakemore tube (यदि खून बंद न हो रहा हो)
- TIPS procedure (Transjugular Intrahepatic Portosystemic Shunt)
- यदि अन्य उपाय विफल हों तो सर्जरी (shunt surgery या liver transplant)
Esophageal Varices कैसे रोके (Prevention of Esophageal Varices):
- लिवर सिरोसिस की रोकथाम
- शराब का सेवन न करें
- वायरल हेपेटाइटिस (HBV, HCV) से बचाव करें और समय पर इलाज करवाएं
- वज़न नियंत्रित रखें
- नियमित रूप से लिवर फंक्शन की जांच कराएं
- डॉक्टर की सलाह अनुसार बीटा ब्लॉकर्स का उपयोग करें
- पाचन और पेट की सेहत बनाए रखें
घरेलू उपाय (Home Remedies for Esophageal Varices):
नोट: यह एक गंभीर चिकित्सा स्थिति है, इसलिए घरेलू उपाय केवल सहायक रूप में हैं:
- हल्का सुपाच्य भोजन लें – मसालेदार और अधिक नमक वाला भोजन न लें
- नारियल पानी और गुनगुना पानी पीना – पाचन और लिवर को सपोर्ट करता है
- तुलसी और आंवला का सेवन – लिवर की सेहत के लिए उपयोगी
- हल्दी का उपयोग – सूजन कम करने में सहायक
- शराब और तंबाकू से पूरी तरह परहेज़ करें
- नीम और एलोवेरा का सेवन (यदि डॉक्टर सलाह दे)
सावधानियाँ (Precautions):
- वेरिसीज़ की पुष्टि होने पर एंडोस्कोपी फॉलोअप न छोड़ें
- लिवर की बीमारी में बिना डॉक्टर सलाह कोई दवा न लें
- एस्पिरिन, NSAIDs जैसे रक्त पतला करने वाली दवाओं से बचें
- अधिक फाइबर और लिक्विड युक्त आहार लें
- खांसी, उल्टी, कब्ज से बचें – ये वेरिसीज़ पर दबाव डाल सकते हैं
- डॉक्टर द्वारा बताई गई दवाओं और डाइट का पालन करें
Esophageal Varices कैसे पहचाने (How to Identify Esophageal Varices?):
- यदि आपको लिवर सिरोसिस है, तो आपको वेरिसीज़ होने की संभावना है
- पेट में सूजन, कमजोरी, पीलिया, या पेट के ऊपरी हिस्से में दर्द हो
- यदि अचानक खून की उल्टी या काला मल आए
- अगर बार-बार चक्कर आता है या खून की कमी महसूस हो
- लिवर की बीमारी का इतिहास हो और बार-बार पेट फूलने, थकान आदि हो
FAQs (अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न):
प्रश्न 1: क्या Esophageal Varices का इलाज संभव है?
उत्तर: हाँ, समय पर पता चलने पर दवाओं और एंडोस्कोपी द्वारा इसे नियंत्रित किया जा सकता है।
प्रश्न 2: क्या वेरिसीज़ फटने पर जान का खतरा है?
उत्तर: हाँ, यदि समय पर इलाज न किया जाए तो यह जानलेवा हो सकता है।
प्रश्न 3: क्या यह बीमारी केवल शराब पीने वालों को होती है?
उत्तर: नहीं, यह लिवर सिरोसिस के कारण होती है, जो हेपेटाइटिस, फैटी लिवर या अन्य कारणों से भी हो सकती है।
प्रश्न 4: क्या वेरिसीज़ दोबारा हो सकती हैं?
उत्तर: हाँ, यदि लिवर की समस्या बनी रहे तो दोबारा विकसित हो सकती हैं।
प्रश्न 5: क्या बिना लक्षण के भी वेरिसीज़ हो सकती हैं?
उत्तर: हाँ, इसलिए लिवर रोगियों में नियमित एंडोस्कोपी की सलाह दी जाती है।
निष्कर्ष (Conclusion):
Esophageal Varices (ग्रासनली की वेरिसीज़) एक गंभीर लेकिन प्रबंधनीय स्थिति है। यह आमतौर पर लिवर सिरोसिस के कारण होती है और यदि इसका समय पर पता न चले और इलाज न किया जाए, तो यह जानलेवा हो सकती है। सही जीवनशैली, समय पर जांच और डॉक्टर की सलाह अनुसार इलाज से इस समस्या को रोका और नियंत्रित किया जा सकता है।