IBS-C (Constipation-Predominant Irritable Bowel Syndrome) यानी कब्ज प्रधान चिड़चिड़ा आंत्र सिंड्रोम एक सामान्य लेकिन परेशान करने वाला पाचन तंत्र विकार है। इसमें व्यक्ति को लगातार कब्ज, पेट दर्द, सूजन और गैस की समस्या होती है, लेकिन इसके पीछे कोई स्पष्ट संरचनात्मक गड़बड़ी नहीं होती।यह विकार क्रॉनिक (दीर्घकालिक) होता है और जीवन की गुणवत्ता को प्रभावित करता है। महिलाओं में यह अधिक आम पाया जाता है।
Constipation-Predominant क्या होता है(What is Constipation-Predominant IBS-C)?
IBS-C एक प्रकार का Irritable Bowel Syndrome (IBS) है जिसमें मुख्य लक्षण कब्ज (Constipation) होता है। इसका मतलब है कि:
- मल त्याग बहुत कठिन होता है
- मल सख्त और छोटा होता है
- मल त्याग की आवृत्ति कम हो जाती है (सप्ताह में 3 बार से कम)
- पेट में ऐंठन और असहजता बनी रहती है
यह स्थिति पाचन तंत्र की गतिशीलता (Motility) और दिमाग-आंत्र संबंध (Gut-Brain Axis) के असंतुलन के कारण होती है।
Constipation-Predominant कारण (Causes of IBS-C)
IBS-C के सटीक कारण अज्ञात हैं, लेकिन कुछ प्रमुख कारण हो सकते हैं:
- आंत्र गतिशीलता में गड़बड़ी (Altered bowel motility)
- Gut-Brain Connection में असंतुलन
- स्ट्रेस और मानसिक तनाव (Stress and anxiety)
- पाचन तंत्र में सूजन (Low-grade inflammation)
- हार्मोनल परिवर्तन (विशेषकर महिलाओं में)
- खाद्य असहिष्णुता (Food intolerances)
- अस्वास्थ्यकर आहार – कम फाइबर और अधिक वसा
- दवाइयों का प्रभाव (जैसे आयरन या एंटीडिप्रेसेंट्स)
- आनुवंशिक कारण
Constipation-Predominant के लक्षण (Symptoms of IBS-C)
- लगातार या बार-बार कब्ज (Chronic constipation)
- पेट दर्द या ऐंठन (Abdominal pain or cramps)
- पेट में सूजन या फुलाव (Bloating)
- गैस बनना (Flatulence)
- मल त्याग के बाद भी अधूरा महसूस होना (Incomplete evacuation)
- मल त्याग में कठिनाई और दबाव महसूस होना
- सख्त या गांठदार मल (Hard or lumpy stools)
- थकान और चिड़चिड़ापन
- कभी-कभी सिरदर्द या नींद की समस्या
Constipation-Predominant कैसे पहचाने (How to Identify IBS-C)
- Rome IV Criteria के अनुसार लक्षणों का आकलन
- कम से कम 3 महीने से पेट दर्द + सप्ताह में कम से कम एक बार मल त्याग की समस्या
- मल की आवृत्ति और बनावट में बदलाव
- कोई संरचनात्मक बीमारी न होना (जैसे कैंसर, IBD इत्यादि)
- Blood test, stool test, और colonoscopy केवल अन्य रोगों को नकारने के लिए
निदान (Diagnosis of IBS-C)
- Clinical Diagnosis (मुख्य रूप से लक्षणों के आधार पर)
- Exclusion Tests:
- Complete Blood Count (CBC)
- Thyroid Function Test
- Celiac Disease Test
- Stool Test for infections or blood
- Colonoscopy (जरूरत हो तो)
Constipation-Predominant इलाज (Treatment of IBS-C)
1. आहार संबंधी बदलाव (Dietary Changes):
- अधिक फाइबर युक्त भोजन (जैसे फल, सब्जियाँ, साबुत अनाज)
- FODMAPs कम करने वाला आहार
- पर्याप्त पानी पीना
2. दवाइयाँ (Medications):
- Laxatives (हल्के दस्तावर): जैसे Polyethylene Glycol
- Antispasmodics (पेट की ऐंठन के लिए)
- Linaclotide या Lubiprostone – severe cases में
- Probiotics (आंतों की सेहत के लिए)
- Antidepressants (कम मात्रा में) – यदि तनाव प्रमुख कारण हो
3. तनाव नियंत्रण:
- Cognitive Behavioral Therapy (CBT)
- मेडिटेशन, योग, रिलैक्सेशन थेरेपी
Constipation-Predominant कैसे रोके (Prevention Tips)
- फाइबर युक्त और संतुलित आहार लें
- तनाव प्रबंधन करें
- नियमित व्यायाम करें (30 मिनट/दिन)
- खाना चबा-चबाकर खाएं
- निर्धारित समय पर मल त्याग करें
- अत्यधिक तले-भुने और प्रोसेस्ड फूड से बचें
- कैफीन और शराब सीमित करें
घरेलू उपाय (Home Remedies for IBS-C)
- गुनगुना पानी पीना सुबह खाली पेट
- इसबगोल (Psyllium husk) का सेवन फाइबर के रूप में
- अदरक की चाय – गैस और सूजन कम करने के लिए
- त्रिफला चूर्ण – आयुर्वेदिक कब्ज निवारक
- ध्यान और प्राणायाम तनाव घटाने के लिए
- हल्का तेल मालिश पेट पर – पाचन को बेहतर बनाने के लिए
सावधानियाँ (Precautions)
- दवाइयाँ डॉक्टर की सलाह से ही लें
- बार-बार जुलाब का उपयोग न करें
- कब्ज होने पर जबरदस्ती मल त्याग का प्रयास न करें
- अचानक आहार में बड़ा बदलाव न करें – धीरे-धीरे बदलाव करें
- यदि मल में खून, तेज वजन घटाव या रात में लक्षण हों – तुरंत जांच कराएं
FAQs (अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न)
प्र1: क्या IBS-C पूरी तरह से ठीक हो सकता है?
यह एक क्रॉनिक स्थिति है, लेकिन जीवनशैली और आहार में बदलाव से इसे नियंत्रित किया जा सकता है।
प्र2: क्या IBS-C कैंसर का कारण बनता है?
नहीं, यह एक फंक्शनल विकार है और कैंसर से संबंधित नहीं है।
प्र3: क्या IBS-C केवल महिलाओं को होता है?
महिलाओं में यह अधिक आम है, लेकिन पुरुषों को भी हो सकता है।
प्र4: क्या IBS-C में colonoscopy जरूरी है?
सिर्फ तब जब डॉक्टर को किसी गंभीर बीमारी का संदेह हो।
प्र5: क्या इसका संबंध तनाव से है?
हाँ, मानसिक तनाव इसका एक बड़ा कारण है।
निष्कर्ष (Conclusion)
IBS-C (Constipation-Predominant Irritable Bowel Syndrome) एक सामान्य लेकिन कष्टदायक पाचन विकार है, जो कब्ज और पेट से जुड़ी परेशानियों के साथ आता है। सही आहार, तनाव नियंत्रण, दवाइयाँ और जीवनशैली में बदलाव इसके प्रबंधन में सहायक हो सकते हैं। यदि लक्षण लंबे समय तक बने रहें, तो डॉक्टर से परामर्श अवश्य लें।